GST provisional registration details of Spices Board New Feature : Click here for Auction Report मसाला: छोटी इलायची, नीलाम की तारीख: 05-Dec-2019, नीलामकर्ता: Cardamom Planters' Association, Santhanpara, लोटों की संख्या: 94, आवक की मात्रा(कि.ग्रा.): 15129.8, बिकी मात्रा (कि.ग्रा.): 13258, अधिकतम मूल्य (रु./कि.ग्रा.): 2996.00, औसत मूल्य (रु./कि.ग्रा.): 2796.47 मसाला: छोटी इलायची, नीलाम की तारीख: 05-Dec-2019, नीलामकर्ता: The Cardamom Processing & Marketing Co-Operative Society Ltd, Kumily, लोटों की संख्या: 278 , आवक की मात्रा(कि.ग्रा.): 66537.5, बिकी मात्रा (कि.ग्रा.): 64395.7, अधिकतम मूल्य (रु./कि.ग्रा.): 3168.00, औसत मूल्य (रु./कि.ग्रा.): 2834.62 Spice: Large Cardamom, Date: 05-Dec-2019, Market: Singtam, Type: Badadana, Price (Rs./Kg): 438, Spice: Large Cardamom, Date: 05-Dec-2019, Market: Singtam, Type: Chotadana, Price (Rs./Kg): 400, Spice: Large Cardamom, Date: 05-Dec-2019, Market: Gangtok, Type: Badadana, Price (Rs./Kg): 450, Spice: Large Cardamom, Date: 05-Dec-2019, Market: Gangtok, Type: Chotadana, Price (Rs./Kg): 400, Spice: Large Cardamom, Date: 05-Dec-2019, Market: Siliguri, Type: Badadana, Price (Rs./Kg): 520, Spice: Large Cardamom, Date: 05-Dec-2019, Market: Siliguri, Type: Chotadana, Price (Rs./Kg): 407,
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कटाई उपरांत सुधार कार्यक्रम

अंतिम अद्यतन 07-06-2016, 14:11

कटाई उपरांत सुधार कार्यक्रम

अन्य मसालों के लिए कटाई उपरांत सुधार कार्यक्रम

घटक

उद्देश्य एवं सहायता का पैमाना

बीज मसाला थ्रेशर

बीजीय मसालों के लिए प्रयोग की जाने वाली कटाई और कटाई-उपरांत प्रथाओं के अस्वच्छ होने के परिणाम स्वरूप उत्पादों में तने, डंठल, मिट्टी, रेत जैसे बाहरी तत्वों का संदूषण होता है। काटे और सूखे पौधों को बांस लाठी से पीटकर या पौधों को व्यक्तिगत रूप से हाथ से मल कर अथवा पशुओं के पैरों के नीचे रौंद कर बीजों को अलग किया जाता है।

किसानों को शिक्षित करने और अंतिम उत्पाद को संदूषण से बचाने के लिए बोर्ड ने थ्रेशर के उपयोग की शुरुआत की, जिसे सूखे पौधों से बीज अलग करने के लिए हाथ से या बिजली के द्वारा संचालित किया जाता है।

बिजली और हाथ से चलाए जानेवाले ऐसे एक थ्रेशर की कीमत के क्रमशः 1.20 लाख और 40,000/- रुपये होने का अनुमान है। कीमत के 50% बतौर बिजली से चलने वाले थ्रेशर के लिए अधिकतम 60,000 /- रु. और हाथ से चलाए जानेवाले थ्रेशर के लिए 20,000/- रुपये तक के इमदाद की जाती है।

काली मिर्च थ्रेशर

परंपरागत रूप से कालीमिर्च की फलियों को पैरों के नीचे रौंद कर डंठलों (स्पाइक्स) को अलग किया जाता है, जो अस्वच्छ और श्रम साध्य होता है। कालीमिर्च थ्रेशर यांत्रिक रूप से संचालित, श्रम की बचत करने वाले होते हैं, और एक स्वच्छ तरीके से फलियों को अलग करते हैं।

उपकरणों की लागत का 50% बतौर प्रति थ्रेशर अधिकतम 15,000/- रुपये तक की इमदाद प्रदान की जाती है।

बांस की चटाइयां

उत्पादकों को स्वच्छ स्थिति में कालीमिर्च सुखाने में सक्षम करने के लिए, बोर्ड आदिवासी किसानों को 90% और अन्य उत्पादकों को 50% की इमदाद पर 12' x 6' आकार की बांस की चटाई की आपूर्ति कर रहा है। बोर्ड चटाई की केंद्रीकृत खरीदारी की व्यवस्था करता है और गैर-इमदाद भाग इकट्ठा करने के बाद उत्पादकों को उसकी आपूर्ति करता है।

हल्दी उबालने का यंत्र (बॉयलर)

सूखी हल्दी प्राप्त करने के लिए ताजी हल्दी का उपचार किया जाता है। उपचार ताजे राइज़ोमों को पानी में उबालना और उन्हें धूप में सुखाना शामिल है। अधिक पकाना सूखे उत्पाद के रंग को बिगाड़ देता है और कम उबालना सुखाए हुए अंतिम उत्पाद को भुरभुरा बना देता है। पारंपरिक उपचार में राइज़ोमों (हल्दी की गांठों) को तांबा या लोहे के कलई किए हुए या मिट्टी के बर्तनों में उबाला जाता है, जिसमें गांठों के अधिक या कम उबाले जाने की संभावना रहती है।

सुधरे वैज्ञानिक उबालने में समानांतर हत्थों के साथ जीआई या एमएस शीट से बने और छिद्रित गर्त वाले बॉयलरों का उपयोग शामिल है। यह हल्दी को इष्टतम सीमा तक उबाला जाना सुनिश्चित करता है, जो अंतिम उत्पाद को बेहतर रंग और गुणवत्ता प्रदान करता है। इसलिए, बोर्ड ने हल्दी उत्पादकों में निर्यात के लिए उपयुक्त गुणवत्ता युक्त हल्दी के उत्पादन के लिए हल्दी बॉयलर के उपयोग को लोकप्रिय किया है। सामुदायिक उपयोग के लिए ऐसे एक बायलर की लागत के 3,00,000/- रुपये होने का अनुमान है। व्यक्तिगत उत्पादक या समूह योजना के अंतर्गत लाभ प्राप्त करने के पात्र हैं। योजना के अंतर्गत उपकरणों की लागत का 50% की दर से अधिकतम 1,50,000/- रुपये की इमदाद दी जाती है।

हल्दी की पालिश करने का यंत्र

सूखी हल्दी हल्के रंग और सतह पर छिलकों और जड़ के टुकड़ों से युक्त एक दुर्बल रूप की होती है। हाथ या यांत्रिक घिसाई के द्वारा बाहरी सतह को चमकाने और चिकना करने के द्वारा इसके रूप को सुधारा जाता है। हाथ से चमकाने के लिए एक कठिन सतह पर सूखी हल्दी की उंगलियों से मलाई की जाती है या उसे बोरे में लपेटकर द्वारा पैरों के द्वारा कुचला जाता है। हाथ से चमकाने की प्रक्रिया अस्वास्थ्यकर होती है और उत्पाद की गुणवत्ता को प्रभावित करती है।

हाथ/बिजली से संचालित पॉलिश करने वाले यंत्र का उपयोग हल्दी को चमकाने का बेहतर तरीका है। यह स्वच्छ और प्रभावी पॉलिश सुनिश्चित करता है जो उत्पाद को बेहतर रूप देता है। बोर्ड हल्दी की पॉलिश के लिए उन्नत पॉलिश करने वाले यंत्र का उपयोग करने के अभ्यास को लोकप्रिय बना रहा है। 250-500 किलो की क्षमता के लिए ऐसे पॉलिश करने वाले यंत्र की औसत कीमत के 40,000/- रुपये होने का अनुमान लगाया गया है। पॉलिश करने वाले यंत्र की कीमत के 50% के लिए अधिकतम 20000 /- रुपए की इमदाद दी जाती है।

आईपीएम किट की आपूर्ति

मिर्च हमारे मसालों के निर्यात की टोकरी के प्रमुख वस्तुओं में से एक है। कीटनाशकों के अंधाधुंध प्रयोग के परिणाम स्वरूप कीटनाशकों के अवशेष रह जाते हैं और ऑस्ट्रेलिया, स्पेन और कुछ अन्य देशों में भारतीय मिर्च के परेषण को रोक दिया गया है। कीटनाशकों की मौजूदगी गंभीर व्यापारिक अवरोधों का कारण बनती है। भारत से मिर्च के निर्यात में वृद्धि करने के लिए कीटनाशकों के अवशेषों को अनुमोदित स्तर के भीतर रखने के लिए निवारक उपाय किए जा रहे हैं।

कार्यक्रम के अंतर्गत खतरनाक रसायनों को स्थानापन्न करने के लिए प्रति हेक्टेयर 5000/- की अनुमानित लागत के फेरोमोन जाल, ट्राइकोडर्मा, ट्राइकोग्रामा जैसे जैव एजेंटों, नीम के कीटनाशक और वर्मी- कम्पोस्ट के बीज कीड़े युक्त आईपीएम किट की आपूर्ति की जाती है। आईपीएम किटों की कीमत का 50% या प्रति हेक्टेयर 2500/- रुपये की इमदाद उपलब्ध है।

पॉलिथीन / सिलपॉलीन शीटों की आपूर्ति

अधिकांश आयातक देशों ने मसालों सहित कृषि उत्पादों के लिए कड़े गुणवत्ता मानक निर्धारित किए हैं। ये मानक अधिक से अधिक कड़े होते जा रहे हैं और मसाला निर्यात को प्रभावित करने वाली प्रभावी व्यापारिक बाधाएं बनते जा रहे हैं। इसलिए मसाले की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए उत्पादकों को स्वच्छ फसलोत्तर तरीकों को अपनाने के लिए शिक्षित, प्रेरित करना तथा समर्थन देना और दुनिया भर में एक धारणा बनाना जरूरी है कि भारत अच्छी गुणवत्ता युक्त मसालों का एक स्रोत है। छोटे और सीमांत किसानों को स्वास्थ्यकर परिस्थितियों में मसाले सुखाने में सक्षम करने के लिए, बोर्ड आदिवासी उत्पादकों को 50% इमदाद पर और अन्य उत्पादकों को 33.33% पर (8 x 6 मीटर आकार की, क्रमशः 250 जीएसएम और 120) की पॉलिथीन शीट/सिलापोलिन शीटों की आपूर्ति करता है।

बोर्ड पॉलिथीन शीट की केंद्रीकृत खरीद की व्यवस्था करता है और उत्पादकों को उनकी आपूर्ति करता है। उत्पादकों से गैर इमदाद का हिस्सा एकत्र किया जाएगा।

पुदीना आसवन इकाई

आम तौर पर पुदीने के तेल का आसवन एक खेत में की जाने वाली प्रक्रिया के रूप में किया जाता है। वर्तमान में अधिकांश किसान खेत की आसवन इकाइयों का उपयोग कर रहे हैं, जो ईंधन दक्षता में कमजोर हैं और आसवन के लिए लंबा समय लेती हैं तथा खराब गुणवत्ता के साथ कम तेल प्राप्त होता है। इसलिए कुशल और बेहतर आधुनिक आसवन इकाइयों को लोकप्रिय बनाने की आवश्यकता है। सीआईएमएपी द्वारा विकसित 500-600 किलो तक शाक की क्षमता के साथ ऐसी एक इकाई की औसत लागत 2.35 लाख रुपये होने का अनुमान लगाया गया है।

बोर्ड प्रति इकाई 1.18 लाख रुपये या वास्तविक लागत के 32.5%, जो भी कम हो का इमदाद देकर प्रति शिफ्ट 500- 600 किलो शाक से कम क्षमता वाली स्टेनलेस स्टील/स्टेनलेस स्टील के अस्तर युक्त उन्नत खेत आसवन इकाइयों की स्थापना को प्रोत्साहित करता है।

कालीमिर्च / लौंग निसेनी

कालीमिर्च 30 फुट की ऊंचाई तक बढ़ती है और इसकी कटाई परंपरागत रूप से, एकल बांस के पोल का उपयोग करके हाथ से की जाती है। यह जोखिम भरी और थकाऊ होती है। वर्तमान में, कालीमिर्च उगाने वाले क्षेत्रों में कालीमिर्च की कटाई के लिए श्रम की अत्यधिक कमी है और बांस की उपलब्धता भी काफी कम है। इसके अतिरिक्त बांस के डंडे आसानी से जल्दी खराब हो जाते हैं। इनको दृष्टिगत रखते हुए, बोर्ड कालीमिर्च की कटाई के लिए निसेनी का वितरण करता है। बोर्ड निसेनी की लागत के 50% की दर से अधिकतम 5000 /- रुपये तक की वित्तीय सहायता के साथ एल्यूमीनियम की निसेनियों की आपूर्ति करेगा।

कालीमिर्च के लिए स्पाइस क्लीनर/ग्रेडर

 

इस योजना का उद्देश्य गुणवत्ता में सुधार करने के लिए कालीमिर्च की सफाई और ग्रेडिंग के मशीनीकरण को लोकप्रिय बनाना है। बोर्ड कालीमिर्च की सफाई / ग्रेडिंग मशीनों की कीमत के 50% या अधिकतम सीमा 35,000/- रुपये तक की इमदाद राशि प्रदान करेगा।।

अदरक के लिए मसाले काटने की मशीन

इस योजना का उद्देश्य गुणवत्ता में सुधार करने के लिए टुकड़े करने की मशीनों का उपयोग कर सूखने से पहले अदरक/हल्दी के टुकड़े करने की प्रक्रिया को अपनाने के लिए उत्पादकों को प्रेरित करना है। बोर्ड उत्पादकों को टुकड़े करने की मशीनों की कीमत के 50% या 7000/- रुपये की अधिकतम सीमा तक की इमदाद प्रदान करेगा।

इमली/जायफल डिह्यूलर

इस योजना का उद्देश्य श्रम लागत को कम करने के साथ ही उत्पाद की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए जायफल/इमली उगाने वाले किसानों में जायफल छीलने/हल्दी छीलने वाली मशीनों को लोकप्रिय बनाना है। बोर्ड उत्पादकों को उपकरणों की कीमत के 50% या अधिकतम 42,500/- रुपए सीमा तक की इमदाद राशि, जो भी कम हो, प्रदान करेगा।

जायफल सुखाने की मशीन

जायफल योजना का मुख्य उद्देश्य निर्यात के लिए गुणवत्ता युक्त जायफल का उत्पादन करने के लिए जायफल किसानों के बीच ड्रायरों का उपयोग कर जायफल/लौंग को स्वच्छता से सुखाने की प्रक्रिया को लोकप्रिय बनाना है। बोर्ड उत्पादकों को मशीनों की कीमत के 50% या 30000/-रुपये की अधिकतम सीमा तक की इमदाद प्रदान करेगा।

लहसुन के लिए पैकिंग और भंडारण इकाई

इस योजना का उद्देश्य लहसुन के लिए पैकिंग और भंडारण की सुविधा को बढ़ावा देना और निर्यात के लिए उत्पादन की गुणवत्ता में सुधार करना है। बोर्ड लहसुन प्राथमिक प्रसंस्करण सुविधाओं के लिए आवश्यक उपकरणों की स्थापना और लहसुन के भंडारण के लिए उपकरणों की स्थापना के लिए 5 लाख रुपये की अधिकतम सीमा तक लागत का 50% इमदाद के रूप में प्रदान करेगा। इमारत के निर्माण के उद्देश्य के लिए कोई सहायता नहीं दी जाएगी।

शाकीय मसाला निष्कर्षक और निर्जलीकरण इकाइयां

इस योजना का उद्देश्य शाकीय मसाले उगाने वाले क्षेत्रों में शाकीय मसाले की प्राथमिक प्रसंस्करण सुविधाओं अर्थात् निष्कर्षण/निर्जलीकरण को बढ़ावा देना है। प्रति इकाई के लिए निष्कर्षण/निर्जलीकरण मशीनों की कीमत के 50% या 1.20 लाख रुपये की अधिकतम सीमा तक की इमदाद दी जाएगी।

सूखी/ताजा अदरक को छीलने और भंडारण की इकाई

 

इस योजना का उद्देश्य अदरक उगाने वाले क्षेत्रों में प्राथमिक प्रसंस्करण सुविधाओं की स्थापना को बढ़ावा देने के द्वारा अदरक की गुणवत्ता में सुधार करना है। बोर्ड उत्पादकों को प्राथमिक प्रसंस्करण सुविधाओं के लिए आवश्यक उपकरणों और भंडारण की सामग्री की स्थापना के लिए लागत के 50% या 5 लाख रुपये की अधिकतम सीमा तक की इमदाद के रूप में प्रदान करेगा। इमारत के निर्माण के उद्देश्य के लिए कोई सहायता नहीं दी जाएगी।

बीजीय मसाला सफाई और भंडारण इकाई

 

इस योजना का उद्देश्य कटाई, सफाई, ग्रेडिंग जैसी प्राथमिक प्रसंस्करण सुविधाओं और निर्यात के लिए बीज मसालों के भंडारण को स्थापित करने के लिए है। बोर्ड प्राथमिक प्रसंस्करण सुविधाओं की स्थापना के लिए आवश्यक उपकरणों और भंडारण के उपकरणों के लिए उपकरणों की लागत का 50% या 5 लाख रुपये की अधिकतम सीमा तक इमदाद प्रदान करेगा। इमारत के निर्माण के उद्देश्य के लिए कोई सहायता नहीं दी जाएगी।

मसाला धुलाई उपकरण

इस योजना का उद्देश्य निर्यात के लिए उत्पादन की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए उत्पादकों को धोने के उपकरणों का उपयोग कर मसालों की फसलोत्तर धुलाई अपनाने के लिए प्रेरित करना है। प्रति इकाई उपकरणों की लागत के 50% या 1.10 लाख रुपये की इमदाद प्रदान की जाती है।

संचालन की विधि/काम करने का तरीका

इच्छुक उत्पादकों को निम्नलिखित दस्तावेजों के साथ मसाला बोर्ड के निकटतम कार्यालय को निर्धारित प्रारूप में आवेदन प्रस्तुत करना होगा:-

1. भूमि कर रसीद / आर टी सी / चिट्टा अडांगल / पर्चे की प्रतिलिपि या उत्तरपूर्वी राज्यों के मामले में गांव / स्थानीय / राजस्व प्राधिकारी द्वारा जारी भूमि के कब्जे का प्रमाण पत्र आदि

2. मतदाता पहचान पत्र की प्रतिलिपि/आधार कार्ड/पासपोर्ट की प्रति

3. बैंक के पास बुक की प्रतिलिपि

4. कोई भी अन्य दस्तावेज जिसे संबंधित अधिकारी द्वारा आवेदक/लाभार्थी द्वारा भूमि के कब्जे को सुनिश्चित करने के लिए सत्यापित करना आवश्यक समझा जाए।

5. अनुमोदित निर्माता का कोटेशन

6. समूहों/गैरसरकारी संगठनों/सोसायटियों के लिए लागू योजनाओं के मामले में निम्नलिखित अतिरिक्त दस्तावेज जमा करना अनिवार्य है :-

क. पंजीकरण का विवरण।

ख. मसाले के अंतर्गत आनेवाले क्षेत्र के साथ समूह में शामिल सदस्य उत्पादकों की सूची।

ग. जहां इकाई स्थापित करने का प्रस्ताव है, उस भूमि और भवन के स्वामित्व साबित करने के लिए दस्तावेज अर्थात् भूमि कर रसीद आदि। [अगर इकाई किसी उत्पादकों में से किसी एक सदस्य की भूमि/भवन में स्थापित की जा रही है, तो समूह और सदस्य उत्पादक के बीच इमारत का उपयोग करने के लिए एक समझौता किया जाएगा।]

घ. उत्पादकों के समूह/महिला समूह/गैर सरकारी संगठनों/ स्वयं सहायता समूह/ मसाला उत्पादक सोसायटी, आदि के बैंक खाते के प्रथम पृष्ठ की प्रतिलिपि।

ङ. परमिट आदेश के जारी होने के बाद बोर्ड के साथ समझौता ज्ञापन निष्पादित किया जाएगा।

मसाला बोर्ड के पदाधिकारी प्रत्येक आवेदन की जांच करेंगे और क्षेत्र कार्यालय के ऑटोमेशन सॉफ्टवेयर के माध्यम से मंजूरी के लिए के उपयुक्त अनुदान के लिए आंचलिक सहायक निदेशक/उप निदेशक, प्रादेशिक कार्यालय से सिफारिश करेंगे। स्वीकृत मामलों के मुख्यालय भेजा जाएगा और इमदाद ई-भुगतान के माध्यम से सीधे लाभार्थी के खाते (कोर बैंकिंग) में जमा की जाएगी। आंचलिक सहायक निदेशक/प्रादेशिक उप निदेशक यादृच्छिक रूप से सिफारिश किए गए मामलों की जांच करेंगे।